मित्रों, कुछ ही दिनों के अंतराल में हिन्दी साहित्य के दो रचनाकार काल-कवलित हो गए | समय के आगे किसी का जोर नहीं पर हम हिंदी-प्रेमी श्री राजेन्द्र यादव जी और के.पी.सक्सेना जी को हमेशा याद करेंगे | के.पी.सक्सेना के काव्यपाठ के तो हम सभी कायल थे और राजेन्द्र जी के हिन्दी साहित्य में योगदान को कभी भुलाया नहीं जा सकता | दोनों महापुरुषों को विनम्र श्रद्धांजलि...
दोनों महान साहित्यकारों को श्रद्धांजलि।
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